अमेरिका में रहने वाले भारतीय अगर स्वदेश लौटने का मन बना रहे हैं तो नागपुर में रह रहीं अदिति द्विवेदी की कहानी उन्हें प्रेरित कर सकती है। अदिति ने सोशल मीडिया पर अमेरिका से लौटने के बाद की जिंदगी के बारे में अनुभव साझा किया है। उन्होंने बताया है कि नागपुर में लाइफस्टाइल कैसी है। अदिति ने इंस्टाग्राम पर एक छोटे से व्लॉग के माध्यम से बताया कि उन्होंने अमेरिका में 14 साल बिताए हैं और अब टियर 2 सिटी नागपुर में सुकून से रह रही हैं। अदिति के वीडियो पर यूजर्स ने भी रिएक्शंस दिए हैं, प्रतिक्रियाएं मिलीजुली हैं। एक निजी वेबसाइट पर अदिति का परिचय भारत और अमेरिका में ग्राहकों के लिए काम करने वाली एक ट्रैवल एडवाइजर के रूप में बताया गया है। वेबसाइट पर यह भी कहा गया है कि उन्हें यात्रा करते समय ‘नए और सार्थक संबंध’ बनाना पसंद है।
अमेरिका से लौटकर नागपुर में रहने वाली अदिति द्विवेदी ने क्या कुछ बताया?
अदिति द्विवेदी अपने वीडियो में नागपुर में अपनी रोजमर्रा की जिंदगी की झलकियां दिखाई हैं। उन्होंने बताया, ”मैंने अमेरिका में 14 साल बिताए और फिर भारत के एक टियर 2 शहर में शिफ्ट हो गई। यहां कुछ ऐसे प्वाइंट हैं जहां मुझे लगता है कि भारत में रहना 20 साल पहले की तुलना में पूरी तरह से अलग अनुभव है। यहां डॉलर की वैल्यू बहुत मायने रखती है क्योंकि यहां के रहने के खर्च बहुत कम हैं। अगर आप एक बढ़िया नौकरी पाने में सक्षम हैं, जो जरूरी नहीं कि बहुत हाई-प्रोफाइल हो, तो भी आप एक बहुत आरामदायक लाइफस्टाइल जी सकते हैं।”
सैलरी का 50 फीसद हिस्सा बचा लेती हैं अदिति
अदिति ने बताया, ”मैं अपने माता-पिता के साथ रहती हूं और उनके पास पहले से ही एक घर है, इसलिए मुझे किराया या यूटिलिटीज के लिए भुगतान नहीं करना पड़ता, बस कुछ छोटे घरेलू खर्च होते हैं, जिसका मतलब है कि मैं अपनी सैलरी का लगभग 50 फीसद हिस्सा बचा लेती हूं।”
अदिति ने बताए नागपुर से जॉब करने और लाइफस्टाइल संबंधी फायदे
अदिति ने बताया, ”मैं एक अमेरिकी कंपनी के लिए पूरी तरह से रिमोट टेक जॉब कर रही हूं, इसलिए मुझे सुबह काम करने की जरूरत नहीं है, जिससे मुझे सुबह के समय में अपने शारीरिक स्वास्थ्य पर ध्यान देने का मौका मिलता है। मैं अपनी वॉक के लिए 30 मिनट और योगा के लिए डेढ़ घंटे बिताती हूं। यह मेरे डेली रूटीन का सबसे अच्छा हिस्सा है।”
उन्होंने बताया, ”चूंकि मेरा काम दोपहर 2 बजे से शुरू होता है, मुझे जल्दी दोपहर में अपने साइड हसल्स पर ध्यान केंद्रित करने के लिए पर्याप्त समय मिलता है। मैं अपनी फुल टाइम जॉब 2 से 9 बजे के बीच करती हूं, लेकिन यह मुझे बहुत लचीलापन भी देती है। टियर 2 शहरों के सबसे अच्छे पहलू हैं सस्ती कुक और घरेलू मदद, बेहतरीन खाने के विकल्प जो ज्यादा महंगे नहीं हैं, काफी कम भीड़-भाड़, क्रेजी ट्रैफिक नहीं, और वैरायटी के साथ सस्ती खरीदारी के विकल्प। कभी-कभार मुझे व्यक्तिगत शॉपिंग के लिए भी किसी को बुलाने का मौका मिलता है। यहां शांति और बहुत आसान जीवन जीने का अनुभव है।”
यूजर्स ने दिए ऐसे रिएक्शंस
एक यूजर ने लिखा, ”नागपुर! वैसे, अमेरिका में जीवन जीते हुए हम सभी कभी न कभी सोचते हैं, “क्या हमें भारत वापस जाना चाहिए? अगर हम वापस जाने का फैसला करते हैं तो जीवन कैसा होगा?” यह वीडियो ऐसे ही सवालों पर एक अच्छा सार पेश करता है।”
एक यूजर ने लिखा, ”आप टियर 2 में इंटरनेट और बिजली कटौती के बारे में भूल गईं, जो बहुत आम बात है।” एक ने यूजर ने लिखा, ”टियर-2 में जीवन अद्भुत है। जेब पर बोझ नहीं पड़ता और आपके पास वह सब कुछ है जो एक अच्छे जीवन के लिए जरूरी। जीवन वहां धीमा भी है जो आपको तरोताजा होने और आराम करने के लिए पर्याप्त समय देता है। आप सभी त्योहारों का आनंद लेते हैं।”
एक यूजर ने लिखा, ”वाह, मैं बहुत प्रेरित हूं। मैं अभी डलास में हूं, यहां एक साल से हूं और मैं काम के सिलसिले में यात्रा करता हूं, जो कि एक्सपोजर के नजरिये से बहुत बढ़िया है, जाहिर है डॉलर के लिए, लेकिन मैं भी आपकी तरह वापस जाने का सपना देखता हूं। जल्द से जल्द परिवार के करीब रहना चाहता हूं।”