पुणे,
महाराष्ट्र में शिवसेना (शिंदे गुट) के एक नेता पूर्व मंत्री ने अपने बेटे की तलाश के लिए चार्टेड प्लेन रुकवा दी. नेताजी का नाम है. तानाजी सांवत. उनको खबर मिली की उनके बेटे का अपहरण हो गया है. और वो एक प्राइवेट प्लेन से बैंकॉक जा रहा है. नेताजी ने अपना जोर दिखाया. मुख्यमंत्री से लेकर नागरिक उड्डयन मंत्री तक को लूप में लिया. और आधे रास्ते से ही फ्लाइट की वापसी करा दी. रिपोर्ट्स के मुताबिक, इस प्लेन की बुकिंग 78 लाख रुपये में की गई थी.
एजेंसी के अनुसार, पुणे पुलिस को सोमवार की शाम 4 बजे एक कॉल मिला, जिसमें दावा किया गया कि ऋषिराज सावंत को अज्ञात लोगों ने अगवा कर लिया है. कॉल मिलने के बाद पुलिस तुरंत एक्टिव हो गई. चूंकि मामला हाई-प्रोफाइल था, तो आनन-फानन में छानबीन होने लगी.
पूर्व मंत्री तानाजी सावंत खुद पुलिस कमिश्नर के पास पहुंचे और बेटे ऋषिराज सावंत को ढूंढने की गुहार लगाई. इसके बाद जब पुलिस ने छानबीन की तो पता चला कि ऋषिराज अगवा नहीं हुए थे, बल्कि अपने दोस्तों के साथ बैंकॉक जाने के लिए एक चार्टर्ड फ्लाइट में सवार हो चुके थे.
इसके बाद पुलिस और एविएशन अथॉरिटी ने मिलकर एयरलाइन से संपर्क किया और विमान को वापस पुणे लौटने का निर्देश दिया. पहले तो पायलट और क्रू को यह कॉल मजाक लगा, लेकिन जब उन्हें डीजीसीए और नागरिक उड्डयन मंत्रालय से पुष्टि हुई कि यह मामला गंभीर है, तो फ्लाइट को वापस मोड़ दिया गया. उस समय विमान अंडमान-निकोबार द्वीप समूह के पास उड़ान भर रहा था.
हैरानी की बात यह रही कि विमान में मौजूद ऋषिराज और उनके दोस्त इस बात से पूरी तरह अनजान थे. पायलट और क्रू ने फ्लाइट की स्क्रीन बंद कर दीं, ताकि यात्रियों को रास्ते का पता न चले. वे आराम से सफर ट्रैवल कर रहे थे, लेकिन उन्हें नहीं पता था कि वे बैंकॉक की बजाय पुणे लौट रहे हैं. इसके बाद जैसे ही विमान पुणे एयरपोर्ट पर उतरा, वे चौंक गए और पायलट से बहस करने लगे. इसी दौरान सीआईएसएफ के जवान विमान में पहुंचे और उन्हें बाहर ले गए.
इस पूरे मामले की जांच में सामने आया कि ऋषिराज सावंत ने अपनी इस ‘बिजनेस ट्रिप’ की जानकारी अपने परिजनों को नहीं दी थी, क्योंकि उन्हें डर था कि घरवाले नाराज हो जाएंगे. अब इस घटनाक्रम को लेकर विपक्षी दल शिवसेना (यूबीटी) ने भी सवाल उठाए हैं. विपक्ष ने आरोप लगाया कि तानाजी सावंत ने पुलिस तंत्र का दुरुपयोग किया. महज एक गुमनाम कॉल पर अपहरण का केस दर्ज करवा दिया. इस घटना से पुलिस महकमे और एविएशन डिपार्टमेंट में हलचल मच गई, सोशल मीडिया पर भी घटना सुर्खियों में रही.
इस मामले को लेकर विपक्ष सरकार पर हमलावर है. शिवसेना (UBT) के प्रवक्ता संजय राउत ने कहा, पूरी व्यवस्था का दुरुपयोग किया गया है. क्योंकि एक राजनेता का बेटा गुस्से में बैंकॉक चला गया. यह सत्ता का खुला दुरुपयोग है. इस मामले में सावंत और मोहोल दोनों पर कार्रवाई होनी चाहिए.वहीं NCP नेता और बारामती से सांसद सुप्रिया सुले ने कहा, बीड के सरपंच हत्याकांड के एक आरोपी का दो महीने बाद भी पता नहीं चल पाया है. और यहां एक पूर्व मंत्री के बेटे को लाने के लिए पूरी व्यवस्था बदल दी गई.
शिवसेना नेता तानाजी सावंत ने सत्ता के दुरुपयोग के आरोपों से इनकार किया है. साथ ही उन्होंने अपने परिवार में किसी विवाद को भी नकारा है. उन्होंने दावा किया कि सत्ता का कोई दुरुपयोग नहीं हुआ है. इसे माता-पिता के दृष्टिकोण से देखना चाहिए. उनका बेटा किसी को बताए बिना चला गया इसलिए उन्होंने पुलिस से संपर्क किया. तानाजी सावंत ने इस मामले में हस्तक्षेप के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस, उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, अजित पवार और मुरलीधर मोहोल को धन्यवाद दिया है.