रांची
झारखंड में तेजी से बदलते राजनीतिक परिदृश्य के बीच मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को ईडी ने गिरफ्तार कर लिया है. उनकी ये गिरफ्तारी जमीन घोटाले मामले में हुई है. इससे पहले हेमंत ने राजभवन पहुंचकर मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, जिसे राज्यपाल ने स्वीकार कर लिया था. उनकी जगह चंपई सोरेन को राज्य का नया मुख्यमंत्री चुना गया. चंपई ने राज्यपाल से मिलकर सरकार बनाने का दावा पेश किया. उन्होंने 43 विधायकों का समर्थन पत्र उन्हें सौंपा था.
जेएमएम-कांग्रेस और आरजेडी गठबंधन की ओर से चंपई सोरेन को नया नेता चुन लिया गया है। वह राज्य के नए मुख्यमंत्री होंगे. सत्तापक्ष की ओर से इससे संबंधित समर्थन भी राज्यपाल को सौंपा। अब राज्यपाल को अगले कदम पर फैसला लेना है। इससे पहले सीएम हेमंत सोरेन भी राजभवन पहुंचे। जेएमएम की सांसद महुआ मांझी ने बताया कि वे ईडी हिरासत में ही राजभवन पहुंचे और अपना त्यागपत्र सौंपा।
गठबंधन की ओर से सरकार बनाने का दावा पेश किया गया। कांग्रेस विधायक आलमगीर आलम ने कहा कि सीएम ने अपने पद से त्यागपत्र दिया। सत्तापक्ष की ओर से सरकार बनाने का दावा पेश किया गया। 43 विधायकों का समर्थन पत्र सौंपा 47 विधायक साथ है। नई सरकार बनाने के लिए दावा पेश किया है। राज्यपाल ने देखने की बात कही है। उन्होंने बताया कि 43 विधायक राजभवन पहुंचे थे। लेकिन राज्यपाल ने परेड कराने से इनकार किया।
हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता राहुल गांधी ने कहा कि ED, CBI और IT अब सरकारी एजेंसियां नहीं बल्कि बीजेपी की ‘विपक्ष मिटाओ सेल’ बन चुकी हैं. खुद भ्रष्टचार में डूबी बीजेपी सत्ता की सनक में लोकतंत्र को तबाह करने का अभियान चला रही है. हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि जो मोदी के साथ नहीं गया, वो जेल जाएगा. खड़गे ने कहा कि विपक्ष को डराना, बीजेपी की टूलकिट का हिस्सा है.
झारखंड मुक्ति मोर्चा सांसद महुआ माजी का दावा है कि हेमंत सोरेन अभी ED की हिरासत में हैं. वह ईडी की टीम के साथ ही इस्तीफा देने राजभवन गए थे, जहां उन्होंने सीएम पद से इस्तीफा दिया. उनकी जगह चंपई सोरेन को राज्य का नया मुख्यमंत्री बनाया गया है. जेएमएम पार्टी की मांग है कि नए मुख्यमंत्री चंपई का शपथ ग्रहण आज ही हो. ऐसे में राजभवन के बाहर विधायकों का हंगामा जारी है.
इससे पहले सीएम सोरेन मंगलवार को 40 घंटे बाद दिल्ली से अचानक रांची पहुंचे थे. सोरेन ने दिल्ली से रांची तक सड़क मार्ग के जरिए 1250 किमी से ज्यादा की यात्रा की. यहां उन्होंने झारखंड मुक्ति मोर्चा के सीनियर नेताओं और सहयोगी विधायकों से मुलाकात की. इस बैठक में सीएम सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन की भी मौजूदगी रही. हालांकि, वे विधायक नहीं हैं. JMM का कहना है कि बैठक में आगे की रणनीतियों के बारे में चर्चा की गई है. बैठकों में विधायकों ने हेमंत सोरेन सरकार के प्रति एकजुटता जताई और बिना किसी नाम के समर्थन पत्र पर भी हस्ताक्षर किए.

