प्रियंका ने हाथ मरोड़ा, राहुल ने शर्ट फाड़ी… बीजेपी बोली- तमाशे की राजनीति में माहिर हैं भाई-बहन

नई दिल्ली

काफी समय बाद दिल्ली की सड़कों पर राजनीतिक विरोध के स्वर बुलंद होते दिखे। बीजेपी सरकार के आठ सालों में शायद ये पहला मौका होगा जब कांग्रेस इस तरह सड़कों पर प्रदर्शन कर रही है। इससे पहले कांग्रेस के प्रदर्शन संसद परिसर पर होकर ही खत्म हो जाते थे। मगर बीजेपी इन प्रदर्शनों का रूट डायवर्ट कर रही है। वहीं कांग्रेस अपने स्टैंड पर कायम है।

शुक्रवार को राजधानी दिल्ली का मौसम कुछ ठंडा था। सुबह हल्की बारिश हुई थी लेकिन जैसे-जैसे कांग्रेस कार्यकर्ता सड़कों पर उतरे वैसे-वैसे गर्मी भी बढ़ती गई। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी की एक तस्वीर सोशल मीडिया पर वायरल हो रही थी। वो एक महिला पुलिसकर्मी का हाथ पकड़े थीं या मरोड़ रहीं थीं ये साफ नहीं था। बीजेपी ने आज फिर एक तस्वीर सोशल मीडिया पर पोस्ट की है। ये तस्वीर है राहुल गांधी की। तस्वीर में राहुल दीपेंद्र हुड्डा की शर्ट खींचते नजर आ रहे हैं।

बीजेपी ने लगाया आरोप
बीजेपी आईटी विंग चीफ अमित मालवीय ने कांग्रेस नेता दीपेंद्र एस हुड्डा को कसकर पकड़े हुए राहुल गांधी की एक तस्वीर पोस्ट की है। अमित मालवीय ने आरोप लगाया कि वायनाड के सांसद जानबूझकर अपने सहयोगी की शर्ट को चीरने का प्रयास कर रहे थे। मालवीय ने यह भी दावा किया कि कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी जो पार्टी मुख्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन में शामिल हुई थीं, उन्होंने ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मियों का हाथ मोड़ा और लात मारकर उनके साथ मारपीट की थी।

प्रियंका गांधी को भी घेरा
अमित मालवीय ने ट्वीट करते हुए कहा कि प्रियंका गांधी वाड्रा के एक हाथ मरोड़ने के बाद राहुल गांधी ने अपने सहयोगी दीपेंद्र हुड्डा की शर्ट फाड़ दी। ताकि यह एक अच्छी विरोध तस्वीर बन सके और दिल्ली पुलिस को इसके लिए दोषी ठहराया जा सके। गांधी भाई-बहन तमाशा की राजनीति के प्रबल समर्थक हैं। एक दिन पहले ही प्रियंका गांधी का बदला स्वरूप देखने को मिला था। प्रियंका गांधी की पुलिस के साथ धक्का मुक्की हुई और उसके बाद प्रियंका बैरिकेडिंग को भी लांघ गईं। दूसरी ओर राहुल गांधी भी मोर्चा संभाले हुए थे।

दिल्ली पुलिस ने दर्ज किया केस
दिल्ली पुलिस ने कांग्रेस के विरोध-प्रदर्शन के सिलसिले में तुगलक रोड पुलिस थाने में एक मामला दर्ज किया है। अधिकारियों ने यह जानकारी दी। विपक्षी दल कांग्रेस ने महंगाई, बेरोजगारी और आवश्यक वस्तुओं पर वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) में बढ़ोतरी के खिलाफ शुक्रवार को देशव्यापी विरोध का आह्वान किया था। पुलिस उपायुक्त (नयी दिल्ली) अमृता गुगुलोथ ने बताया कि भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 186 (लोक सेवक को सार्वजनिक कार्यों के निर्वहन से रोकना), 188 (लोक सेवक के विधिवत आदेश की अवज्ञा), 332 (लोक सेवक को उसका काम करने से रोकने के लिए जानबूझकर चोट पहुंचाना) और 34 (साझा इरादा) के तहत तुगलक रोड पुलिस थाने में मामला दर्ज किया गया है। पुलिस ने लुटियंस दिल्ली से शुक्रवार को 65 सांसदों सहित 300 से अधिक प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया था।

कांग्रेस-बीजेपी में आरोप-प्रत्यारोप की राजनीति
कांग्रेस ने महंगाई और बेरोजगारी के खिलाफ उसके प्रदर्शन के संदर्भ में आये गृह मंत्री अमित शाह के बयान को लेकर उन पर निशाना साधते शुक्रवार को कहा कि शाह ने उसके (कांग्रेस के) शांतिपूर्ण प्रदर्शन को बदनाम करने का घृणित प्रयास किया है।पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने यह दावा भी किया कि सिर्फ बीमार मानसिकता के लोग ही ऐसे फर्जी तर्क दे सकते हैं। शाह ने कहा, ‘आज का दिन कांग्रेस ने इसलिए काले कपड़ों में विरोध के लिए चुना, क्योंकि वो इसके माध्यम से संदेश देना चाहते हैं कि हम राम जन्मभूमि के शिलान्यास का विरोध करते हैं और अपनी तुष्टिकरण की नीति को आगे बढ़ाना चाहते हैं।’ रमेश ने ट्वीट किया, “आज महंगाई, बेरोजगारी और जीएसटी के खिलाफ कांग्रेस के लोकतांत्रिक और शांतिपूर्ण प्रदर्शन को बदनाम करने एवं इससे ध्यान भटकाने का गृह मंत्री ने घृणित प्रयास किया।”

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