आरसीपी सिंह भ्रष्टाचारी! पढ़ लीजिए JDU के नोटिस पर क्या बोल दिया उपेंद्र कुशवाहा ने

पटना/नई दिल्ली

बिहार में सत्ताधारी जेडीयू की ओर से अपनी ही पार्टी के पूर्व अध्यक्ष पर अकूत दौलत बनाने का आरोप लगने पर राजनीतिक सरगर्मी तेज हो गई है। जेडीयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेन्द्र कुशवाहा ने शनिवार को कहा कि प्रथम दृष्टया यह भ्रष्टाचार का मामला लग रहा है। हालांकि उन्होंने कहा कि आरसीपी सिंह का पक्ष आने के बाद ही किसी निष्कर्ष पर पहुंचा जा सकता है। वहीं लोक जनशक्ति पार्टी (राम विलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने कहा कि आरोप लगाने से काम नहीं चलेगा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पूरे मामले की जांच करवाकर तथ्य जनता के सामने रखना चाहिए।

जेडीयू के वरिष्ठ नेता उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि नोटिस के जरिए जानने की कोशिश की गई है कि जो ब्योरा पार्टी को प्राप्त हुई है, आपका (RCP सिंह) का क्या कहना है। इसलिए पार्टी की ओर से उन्हें नोटिस दिया गया है। उन्होंने जो भी जमीन खरीदी है उसका एफिडेविट में जिक्र नहीं है तो यह चुनाव आयोग का मामला बनता है। यह मामला चुनाव आयोग को देखना चाहिए। यह सबको मालूम होना चाहिए कि हमारे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और हमारी सरकारी भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस की नीति पर चलती है। इस संबंध में सरकार से संबंधित किसी व्यक्ति पर अगर इस तरह का आरोप लगता है तो स्वभाविक रूप से यह गंभीर है। जल्द से जल्द उन्हें (RCP सिंह) पूरे मसले पर अपनी बात रखनी चाहिए।

सीएम नीतीश भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस: कुशवाहा
कुशवाहा ने आगे कहा कि अभी जो भी उनपर आरोप है कि कहां से संपत्ति आई, कैसे आई यह सब जांच का विषय है। लेकिन इतना सबको मालूम है कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ऐसी चीजों को कतई बर्दाश्त नहीं करते हैं। स्वभाविक रूप से अगर किसी ने साथ रहकर भी ऐसा किया है तो इसमें दो बातें हो सकती है। या तो नीतीश कुमार की जानकारी के बिना ऐसा किया गया होगा या फिर उनसे दूर हटने के बाद ऐसा किया गया होगा। लेकिन पूरी बात जांच के बाद ही पता चल पाएगी।

अगर पार्टी के किसी सदस्य के बारे में कोई सूचना आती है तो पार्टी की जिम्मेदारी बनती है जिनके बारे में सूचना है उन्हें इस बात से अवगत कराया जाए। प्रथम दृष्टया यह मामला भ्रष्टाचार जैसा दिखता ही है। अंतिम निष्कर्ष पर अभी पहुंचना संभव नहीं है, जब तक उनका पक्ष सामने ना आ जाए। हम लोग उनकी बात आने का इंतजार करेंगे।

आरसीपी सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच कराने के सवाल पर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि पार्टी का दायित्व है कि सामने वाले को मौका दिया जाए। अगर जवाब से संतुष्ट नहीं होंगे तो अगला कदम उठाया जाएगा। आवश्यकता अनुसार किसी भी जांच एजेंसी से मामले की जांच कराई जा सकती है।

आरसीपी सिंह के समर्थकों की ओर से ‘बिहार का सीएम कैसा हो, आरसीपी सिंह जैसा हो’ जैसी नारेबाजी पर कुशवाहा ने कहा कि जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने इसपर अपनी बात स्पष्ट कर दी है। उन्होंने कहा कि पार्टी के अंदर रहकर अगर कोई ऐसी नारेबाजी करता है तो सरासर गलत है। पार्टी ऐसी चीजों को कतई बर्दाश्त नहीं करेगी।

RCP पर आरोप से काम नहीं चलेगा, तथ्य सामने लाएं: चिराग पासवान
लोक जनशक्ति पार्टी (राम विलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान ने कहा कि एक बात स्पष्ट है कि जेडीयू आज की तारीख में दो गुटों में बंटी हुई पार्टी है। एक गुट बीजेपी का समर्थन करता है और दूसरा किसी भी कीमत में बीजेपी का भला नहीं चाहता है। यही आरसीपी सिंह केंद्र सरकार में जेडीयू का प्रतिनिधित्व कर रहे थे। सीएम नीतीश कुमार को यह भूलना नहीं चाहिए कि आरसीपी सिंह उनकी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष रह चुके हैं। सवाल उठता है कि तथाकथित रूप से जिस मुख्यमंत्री के बारे में कहा जाता था कि वह भ्रष्टाचार पर जीरो टॉलरेंस नीति रखते हैं क्या वह आरसीपी सिंह के कारनामे को टॉलरेंट कर रहे थे। क्या नीतीश कुमार अपनी पार्टी के केंद्र में बने मंत्री का भ्रष्टाचार टॉलरेंट कर रहे थे।

चिराग ने कहा कि हकीकत यह है कि आज के डेट में जब आरसीपी सिंह की नजदीकी बीजेपी से होती है, तो जेडीयू की ओर से उनपर भ्रष्टाचार का आरोप डाल दिया जाता है। आरोप क्यों लगा रहे हैं, जांच कीजिए आपकी सरकार है तो तथ्य सामने दीजिए।

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