नई दिल्ली/नागपुर
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी को पिछले दिनों बीजेपी के संसदीय बोर्ड से बाहर कर दिया गया। उनकी बीजेपी नेतृत्व से अनबन की खबरें आईं। हालांकि, गडकरी और पार्टी, दोनों ने ही ऐसी रिपोर्ट्स को सिरे से खारिज किया। अब गडकरी ने खुलासा किया है कि कई साल पहले उन्हें कांग्रेस पार्टी में शामिल होने का ऑफर आया था। नागपुर में उद्यमियों की एक बैठक के दौरान गडकरी ने युवावस्था का वह किस्सा सुनाया। गडकरी ने याद किया कि जब वह छात्र नेता थे, तब कांग्रेस नेता डॉ. श्रीकांत जिचकर ने उन्हें बेहतर भविष्य के लिए कांग्रेस में शामिल होने के लिए कहा था। केंद्रीय मंत्री ने कहा, ‘उन्होंने मुझसे कहा कि नितिन, यू आर ए गुड पर्सन, यू हैव ए गुड पॉलिटिकल फ्यूचर बट यू आर इन अ रॉन्ग पार्टी। (तुम अच्छे इंसान हो, तुम्हारा राजनीतिक भविष्य अच्छा है मगर तुम गलत पार्टी में हो।) तुम कांग्रेस में आओ… तो मैंने कहा कि श्रीकांत मैं कुएं में जान दे दूंगा पर कांग्रेस में नहीं आऊंगा क्योंकि मुझे कांग्रेस की विचारधारा पसंद नहीं है।’
‘किसी का हाथ थाम लें तो उसे थामे रहें…’
गडकरी ने रिचर्ड निक्सन के कथन का हवाला देते हुए कहा कि जब कोई व्यक्ति पराजित होता है तो खत्म नहीं होता। जब वह हार मान लेता है तो खत्म हो जाता है। गडकरी ने यह बात उद्यमियों की एक बैठक के दौरान कही। उन्होंने यह भी कहा कि जो कोई भी व्यवसाय, सामाजिक कार्य या राजनीति में है, उसके लिए मानवीय संबंध सबसे बड़ी ताकत है। हाल में बीजेपी के संसदीय बोर्ड से हटाए जाने को लेकर चर्चा में रहे गडकरी ने कहा, ‘इसलिए, किसी को भी ‘इस्तेमाल करो फेंको’ की दौर में नहीं शामिल होना चाहिए। अच्छे दिन हों या बुरे दिन, जब एक बार किसी का हाथ थाम लें, उसे थामें रहें। उगते सूरज की पूजा न करें।’
अफवाह फैलाने वालों को गडकरी ने दी थी चेतावनी
गडकरी ने पिछले दिनों अपने आलोचकों और मीडिया के एक वर्ग को आड़े हाथों लिया था। उन्होंने कहा था कि राजनीतिक फायदे के लिए उनके बयानों को गलत तरीके से पेश किया जा रहा है। एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कुछ साल पहले एक किस्सा सुनाते हुए कहा था कि उन्हें पद का लालच नहीं है। वह जाए तो चला जाए। लेकिन आप नेता ने उनका वह विडियो ट्वीट करते हुए कहा था कि गडकरी ऐसा क्यों कह रहे हैं, बीजेपी में बहुत गड़बड़ चल रही है। इसके बाद मीडिया के एक वर्ग में उनके पद छोड़ने की खबरें उड़ने लगीं। इन सब खबरों को भ्रामक बताते हुए उन्होंने ना मानने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने तक की चेतावनी दे डाली।
अपने बयानों को लेकर अक्सर खबरों में रहने वाले गडकरी को पिछले सप्ताह बीजेपी संसदीय बोर्ड से हटा दिया गया था। गुरुवार को उन्होंने कहा कि वह सरकार और पार्टी के हित में इस तरह के बयान देने वालों के खिलाफ कानूनी रास्ता अपनाएंगे। गडकरी ने ट्वीट किया, ‘आज एक बार फिर मुख्यधारा के मीडिया, सोशल मीडिया के एक वर्ग और कुछ लोगों की ओर से राजनीतिक फायदे के लिए मेरे खिलाफ घृणित और मनगढ़ंत अभियान जारी रखने के प्रयास किए जा रहे हैं। सार्वजनिक समारोहों में मेरे बयानों को बिना सही संदर्भ के पेश किया जा रहा है।’