नई दिल्ली
त्योहारी सीजन में देश में सोने की कीमत चरम पर पहुंच सकती है। इसलिए अगर आपकी सोना खरीदने की योजना है तो फटाफट खरीद लीजिए। इसकी वजह यह है कि भारत में गोल्ड सप्लाई करने वाले बैंकों ने शिपमेंट में कटौती की है। वे भारत के बजाय चीन और तुर्की जैसे देशों को सोना भेज रहे हैं जहां उन्हें बेहतर कीमत मिल रही है। रॉयटर्स की एक रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से यह बात कही गई है। इससे त्योहारी मौसम में देश में सोने की कमी हो सकती है और ग्राहकों को सोना खरीदने के लिए ज्यादा खर्च करना पड़ सकता है। भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा गोल्ड मार्केट है।
रिपोर्ट के मुताबिक भारत में सोने की ज्यादातर सप्लाई आईसीबीसी स्टैंडर्ड बैंक , जेपी मॉर्गन और स्टैंडर्ड चार्टर्ड की तरफ से की जाती है। अमूमन ये बैंक त्योहारी सीजन से पहले ज्यादा सोना मंगाते हैं और इन्हें अपनी तिजौरियों में भर लेते हैं। लेकिन सूत्रों के मुताबिक इस बार इन तिजौरियों में एक साल पहले के मुकाबले 10 फीसदी से भी कम गोल्ड है। मुंबई की एक तिजौरी से जुड़े एक अधिकारी ने कहा कि इस समय तिजौरियों में कई टन सोना होना चाहिए था लेकिन उनके पास कुछ किलो सोना ही रह गया है। बैंकों ने इस पर टिप्पणी करने से इन्कार किया।
तुर्की और चीन में बढ़ी मांग
भारत में इंटरनेशनल प्राइस बेंचमार्क पर प्रीमियम केवल एक से दो डॉलर रह गया है जो पिछले साल इस समय चार डॉलर था। दूसरी ओर चीन में 20 से 45 डॉलर तक प्रीमियम मिल रहा है। इसी तरह तुर्की में 80 डॉलर तक प्रीमियम मिल रहा है। चीन में कोरोना से जुड़े लॉकडाउन से जुड़ी पाबंदियों में ढील के बाद सोने की मांग बढ़ी है। इसी तरह तुर्की में महंगाई के कारण सोने की मांग में तेजी आई है।
सोना सप्लाई करने वाले एक बैंक ने कहा कि बैंक वहीं सोना बेचेंगे जहां उन्हें ज्यादा कीमत मिलेगी। अभी चीन और तुर्की ज्यादा प्रीमियम दे रहे हैं। उनकी तुलना में भारत कहीं नहीं है। भारत ने सितंबर में सोने के आयात में 30 फीसदी गिरावट आई जबकि तुर्की का आयात 543 फीसदी बढ़ गया। इसी तरह चीन में हॉन्गकॉन्ग के रास्ते सोने का आयात अगस्त में 40 फीसदी बढ़ गया। भारत में इस महीने दशहरा, दिवाली और धनतेरस है। इस दौरान सोना खरीदना शुभ माना जाता है। इन त्योहारों के बाद शादी का सीजन शुरू होगा। देश में सोने की ज्यादातर खरीद इसी दौरान होती है। मुंबई के एक बुलियन डीलर ने कहा कि सोने की कमी से ग्राहकों को ज्यादा पैसा खर्च करना पड़ सकता है।