विजय रुपाणी और नितिन पटेल के आने वाले हैं ‘अच्छे दिन’, इस रेस में सबसे आगे है नाम

अहमदाबाद

गुजरात में पांच साल से अधिक वक्त तक सीएम और डिप्टी सीएम की जिम्मेदारी के साथ काम करने वाले विजय रुपाणी और नितिन पटेल का एकांतवास जल्द खत्म हो सकता है। पार्टी के दोनों नेता 2023 में ही राज्यसभा में पहुंच सकते हैं। गुजरात में राज्यसभा की तीन सीटों का कार्यकाल अगस्त में पूरा हो रहा है। ऐसे में जुलाई के अंत दोनों नेताओं को राज्यसभा भेजे जाने का ऐलान हो सकता है। गुजरात विधानसभा चुनावों में दोनों नेता चुनाव नहीं लड़े थे। बीजेपी ने पूर्व मुख्यमंत्री विजय रुपाणी को पंजाब का प्रभारी बनाया हुआ है, तो वहीं नितिन पटेल के पास फिलहाल कोई बड़ा दायित्व नहीं है।

पार्टी सूत्रों के अनुसार गुजरात में राज्यसभा की कुल 11 सीटें हैं। इनमें से 7 सीटें बीजेपी के पास हैं, जबकि तीन सीटें कांग्रेस के पास हैं। बीजेपी की सात सीटों में से तीन सीटों का कार्यकाल पूरा हो रहा है। वर्तमान में इस सीटों पर विदेश मंत्री एस जयशंकर, जुगलजी माथुरजी ठाकोर और दिनेशचंद्र अनावडिया शामिल हैं। संभावना है कि विदेश मंत्री एस जयशंकर फिर से गुजरात से राज्यसभा के लिए निर्वाचित हों, बाकी दोनों सीटों के लिए विजय रुपाणी और नितिन पटेल का नाम सबसे ऊपर है। विजय रुपाणी एक बार राज्यसभा के सदस्य रह चुके हैं, जबकि चार मुख्यमंत्रियों के साथ काम करने वाले नितिन पटेल को अगर मौका मिलता हैं तो वे पहली बार राज्यसभा पहुंचेंगे।

2024 में फिर खाली होंगी 4 सीटें
अगस्त 2023 में जहां तीन सीटों का कार्यकाल पूरा हो रहा है तो वहीं 2024 के लोकसभा चुनावा से पहले अप्रैल में 4 और राज्यसभा सीटों का कार्यकाल पूरा हो गया। इनमें 2 बीजेपी के पास हैं और दो कांग्रेस के पास हैं। कांग्रेस से पूर्व रेल राज्य मंत्री नारायण सिंह राठवा और अमी याज्ञनिक अभी राज्यसभा में हैं, जबकि बीजेपी की तरफ से मनसुख मांडविया और परषोत्तम रुपाला राज्यसभा में हैं। दोनों नेताओं के फिर रिपीट होने के आसार हैं। ऐसे में बीजेपी कांग्रेस के कब्जे वाली राज्यसभा की सीटों पर लोकसभा चुनावों से अपने दो और नेताओं को राज्यसभा में भेज सकेगी। गुजरात में बीजेपी की प्रचंड जीत के बाद जून, 2026 में बीजेपी सभी 11 सीटों पर कब्जा जमा लेगी।

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