नई दिल्ली,
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर संसद का तापमान बढ़ा हुआ है. राज्यसभा में शुक्रवार को धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा की शुरुआत करते हुए सत्ता पक्ष की ओर से भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के सांसद डॉक्टर सुधांशु त्रिवेदी ने नरेंद्र मोदी को पंडित जवाहरलाल नेहरू के मुकाबले अतुलनीय पीएम बताया था. सोमवार को बारी विपक्ष की थी. राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे रौद्र रूप में नजर आए. आसन से राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने सख्ती की. उच्च सदन में सोमवार को जमकर तकरार नजर आई और संघ से लेकर वाजपेयी तक का जिक्र हुआ.
राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान बोलते हुए कहा कि प्रोफेसर से लेकर वीसी और सीबीएसई, शिक्षण संस्थाओं पर संघ और बीजेपी के लोगों ने कब्जा कर लिया है. इस पर सभापति जगदीप धनखड़ ने आपत्ति जताई और खड़गे को टोकते हुए कहा कि आपके इस बयान को एक्सपंज करता हूं और इसका कारण भी बताता हूं. इस पर खड़गे ने कहा कि आप नियुक्तियों की लिस्ट मंगवाइए. किन जातियों के लोग हैं, प्रोफेसर किन जाति के हैं, सेंट्रल यूनिवर्सिटी में कितने हैं, लाइए लिस्ट. कोई गरीब-पिछड़ा है इसमें?
राज्यसभा के सभापति ने कहा कि क्या किसी संस्था का सदस्य होना अपराध है? आपकी बात बिल्कुल गलत है. मान लो कोई व्यक्ति RSS का सदस्य है, तो क्या ये अपराध है? यह एक संस्था है, राष्ट्र का कार्य कर रही है, देश के लिए योगदान दे रहे हैं. देश और दुनिया में प्रमाणित लोग हैं, देश के लिए योगदान दे रहे हैं. दुनिया के अंदर सबसे ज्यादा योग्यता आप उनमें देख सकते हैं. नथिंग विल गो ऑन रिकॉर्ड. इसके बाद विपक्ष के नेता ने कहा- देश के लिए संघ की विचारधारा खतरनाक है. ये मनुवादी हैं, वो स्त्रियों और दलितों को शिक्षा नहीं देना चाहते.
सभापति ने विपक्ष के नेता के इस बयान को भी एक्सपंज करने के लिए कहा. खड़गे के बयान को लेकर सत्ता पक्ष के सदस्यों ने हंगामा शुरू कर दिया. सत्ता पक्ष की ओर से नेता सदन जेपी नड्डा ने कहा कि संघ के बारे में विपक्ष के नेता ने जो कहा वह बहुत ही गैर जिम्मेदाराना बयान है. उसे हटाया जाना चाहिए. विपक्ष के नेता को संगठनों के बारे में जरा भी जानकारी नहीं है. सभापति ने इस पर कहा कि इसे ऑलरेडी एक्सपंज कर दिया गया है. सत्ता पक्ष के सदस्यों के हंगामे के बीच खड़गे ने अपनी स्पीच जारी रखी.
खड़गे ने सरकार को मणिपुर के मुद्दे पर कठघरे में खड़ा किया और कहा कि राष्ट्रपति के अभिभाषण में इसे लेकर चिंता नहीं जताई गई. उन्होंने मणिपुर को लेकर मोहन भागवत के बयान का जिक्र किया और कहा कि आप हमारी तो सुनते नहीं हो, इनकी सुन लो. इस पर सभापति ने उन्हें टोकते हुए संघ को लेकर दिए बयान की याद दिलाई और कहा कि ऐसे नहीं चलेगा. विपक्ष के नेता ने कहा कि सत्ता आती है जाती है, लेकिन सत्ता के लालच में बात-बात पर झूठ बोलने की बात नहीं होनी चाहिए जैसा मोदीजी ने किया है. उनके कई भाषण हैं जिसमें उन्होंने क्या क्या कहा है, ये है मेरे पास. मोदीजी के तीन बयान कोट करना चाहूंगा और उम्मीद है कि आप प्रॉसीडिंग में बनाए रखेंगे.
खड़गे के इस बयान पूर सभापति ने कहा कि आप जो अनुरोध कर रहे हैं कि भाषणों को बनाए रखेंगे, ऑथेंटिकेट कर दीजिए कि कब दिया और कहां दिया. कोई इश्यू नहीं है. इस पर विपक्ष की ओर से शक्ति सिंह ने कहा कि सब झूठ बोलते हैं उसको नहीं बोलते हैं ऑथेंटिकेट करने के लिए. इस पर सभापति धनखड़ ने नाराजगी जताई और विपक्ष के नेता से उनको कंट्रोल करने के लिए कहा. खड़गे ने कहा कि आप हमेशा ऑथेंटिकेट करने के लिए कहते हो, इसीलिए पूरी कटिंग लाया हूं.
सभापति ने विपक्ष के नेता से बैठने के लिए कहा. इस पर खड़गे ने कहा- साहब मुझे उठने-बैठने में दिक्कत है. सभापति ने कहा कि न्यूज पेपर ऑथेंटिकेट नहीं करता, प्राइमरी मटेरियल. इस पर पी चिदंबरम ने सवाल किया कि पीएम मोदी देश के किसी इलाके में पीएम कोई स्पीच करते हैं, तो कोई सदस्य किस तरह ऑथेंटिकेट कर सकता है, बताइए. इस पर सभापति धनखड़ ने कहा कि वीडियो क्लिप के जरिए कर सकते हैं.