नई दिल्ली,
कांग्रेस ने शुक्रवार को मांग की कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी किसानों को बातचीत के लिए आमंत्रित करें और कृषि उपज के न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) को कानूनी समर्थन प्रदान करने की उनकी मांग को स्वीकार करें और संसद के मौजूदा शीतकालीन सत्र में इस आशय का कानून बनाएं. कांग्रेस महासचिव रणदीप सुरजेवाला ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि यह सरकार “किसान विरोधी” है क्योंकि यह किसानों की आवाज नहीं सुन रही है और कहा कि किसानों को दिल्ली आने की अनुमति दी जानी चाहिए और सरकार को उनसे बात करनी चाहिए और उनकी चिंताओं और शिकायतों का समाधान करना चाहिए.
सुरजेवाला ने कहा, “हम प्रधानमंत्री से मांग करते हैं कि वे किसानों को बातचीत के लिए आमंत्रित करें और उनकी मांगों पर सहमत होने के बाद MSP को कानूनी समर्थन देने के लिए एक कानून पारित करें. इस संबंध में एक विधेयक संसद के इसी शीतकालीन सत्र में लाया जाना चाहिए और पारित किया जाना चाहिए.
“उन्होंने प्रधानमंत्री पर कटाक्ष करते हुए कहा, “पीएम के पास फिल्में देखने का समय है, लेकिन किसानों से मिलने का नहीं.” कांग्रेस नेता ने कहा कि किसानों से बात करने के बाद उनकी मांगों को मानने के बजाय, यह सरकार किसानों को दिल्ली आने से रोकने के लिए उनके रास्ते में कीलें बिछा रही है और दीवारें खड़ी कर रही है.
सरकार पर संसद में झूठ बोलने का लगाया आरोप
सुरजेवाला ने सरकार पर संसद में झूठ बोलने का आरोप लगाते हुए कहा कि किसानों की सारी उपज एमएसपी पर खरीदी गई है. उन्होंने कहा कि यह सच से कोसों दूर है. कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने संसद में सीधे सवाल को टाल दिया कि क्या एमएसपी को कानूनी दर्जा दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि वे झूठ बोलकर देश को बेवकूफ बना रहे हैं. कांग्रेस नेता ने दावा किया कि भाजपा शासित राज्यों ने सीएसीपी आयोग को लिखित में दिया है कि उनके राज्यों में किसानों की उपज की लागत आयोग द्वारा सूचीबद्ध लागत से अधिक है और उन्हें अपनी उपज पर एमएसपी नहीं मिल रही है.
उन्होंने कहा कि अगर कॉरपोरेट टैक्स कम किया जा सकता है तो किसानों का दो से तीन लाख करोड़ रुपये का कर्ज क्यों माफ नहीं किया जा सकता. उन्होंने कहा कि कांग्रेस किसानों की मांगों पर उनके साथ खड़ी है. किसानों के आंदोलन पर सुरजेवाला ने पूछा, क्या लोगों के दिल्ली आने पर रोक है? क्या यह नया सामान्य और नया भारत है कि वे देश की राजधानी दिल्ली नहीं आ सकते? किसी को भी दिल्ली आने की अनुमति होनी चाहिए. किसानों को दिल्ली आने से रोकने के लिए सरकार द्वारा उठाए गए एहतियाती कदमों के बारे में उन्होंने कहा, “तीन स्तरीय सुरक्षा व्यवस्था चीन की सीमा पर होनी चाहिए थी.”
‘किसान न्याय मांगने दिल्ली क्यों नहीं आ सकते?’
उन्होंने कहा कि किसानों को मणिपुर जैसे हालात पर मत पहुंचाइए. सुरजेवाला ने कहा, “किसान न्याय मांगने दिल्ली क्यों नहीं आ सकते? फिर उन्हें क्यों रोका जा रहा है. हम संसद में किसानों के मुद्दे को उठाते रहेंगे. दो दिन पहले राज्यसभा में सोनिया गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस सांसदों ने किसानों के मुद्दे पर सदन से वॉकआउट किया था. हम संसद में इस मुद्दे को उठाते रहेंगे. लेकिन अडानी का मुद्दा भ्रष्टाचार का है और हम इसे भी उठाएंगे.”
यह पूछे जाने पर कि अगर किसानों को दिल्ली आने की अनुमति नहीं दी गई तो क्या राहुल गांधी उनसे मिलेंगे? इस पर सुरजेवाला ने कहा, “कांग्रेस इसका राजनीतिकरण नहीं करना चाहती. जहां भी अन्याय होगा, राहुल गांधी, खड़गे जी जाएंगे. यह राजनीति का मामला नहीं है, यह देश की खाद्य सुरक्षा का मामला है.”