भरतपुर ,
भरतपुर के महाराजा सूरजमल बृज विश्वविद्यालय में विवाद उस समय गहरा गया. जब एक छात्र ने विश्वविद्यालय के कुलपति रमेश चंद्र का रास्ता रोककर उनसे अपनी डिग्री निरस्त करने का कारण पूछा. यह घटना 30 दिसंबर 2024 को अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रांत सम्मेलन के दौरान हुई, जिसमें राजस्थान के राज्यपाल हरिभाऊ बागडे मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद थे.
छात्र विष्णु खैमरा, जो अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का कार्यकर्ता और छात्र नेता है. उसका का आरोप है कि कुलपति रमेश चंद्र ने व्यक्तिगत द्वेष के चलते उसकी ग्रेजुएशन की डिग्री रद्द कर दी. विष्णु का कहना है कि उसने वर्ष 2020 में अपनी ग्रेजुएशन पूरी कर ली थी, लेकिन विश्वविद्यालय में भ्रष्टाचार और छात्रों के हितों की मांग को लेकर किए गए आंदोलनों के कारण उसके खिलाफ षड्यंत्र रचा गया.
छात्र ने विश्वविद्यालय के कुलपति रमेश चंद्र का रास्ता रोका
विष्णु ने कहा, मैंने हमेशा छात्रों के हितों की आवाज उठाई है. फीस वृद्धि और विश्वविद्यालय प्रशासन में हो रहे भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने की वजह से मेरी डिग्री निरस्त कर दी गई. मैं राज्यपाल और मुख्यमंत्री से अपील करता हूं कि मुझे न्याय दिलाया जाए.विवाद के दौरान पुलिस प्रशासन ने तुरंत हस्तक्षेप किया और छात्र को शांत कर वहां से हटाया. कुलपति रमेश चंद्र बिना कोई प्रतिक्रिया दिए अपनी गाड़ी में बैठकर रवाना हो गए.
कुलपति रमेश चंद्र पर लग चुके हैं भ्रष्टाचार के आरोप
बता दें, कुलपति रमेश चंद्र पर पहले भी कई विधायकों और छात्रों ने भ्रष्टाचार और छात्रों के शोषण के आरोप लगाए हैं. इन आरोपों की जांच की मांग राज्यपाल और मुख्यमंत्री से की गई है, लेकिन अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है