इजरायल के नए मानचित्र पर क्यों मचा बवाल, जॉर्डन, कतर, यूएई ने जताया विरोध, हमास भी भड़का

तेल अवीव

इजरायल के नए मानचित्र पर कूटनीतिक तूफान खड़ा हो गया है। इस मानचित्र को इजरायली विदेश मंत्रालय ने अरबी भाषा के ट्विटर और इंस्टाग्राम अकाउंट पर अपलोड किया है। इसमें बाइबिल में उल्लेखित इजरायल (यहूदी राज्य) का मानचित्र दिखाया गया है। हालांकि, कई अरब देशों ने इसे संप्रभुता के सीधे उल्लंघन बताया है। अरब देशों का कहना है कि नए मानचित्र में कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्रों और पड़ोसी अरब भूमि के कुछ हिस्सों को “ग्रेटर इजरायल” के हिस्से के रूप में दर्शाया गया है।

इजरायल ने मानचित्र शेयर कर क्या लिखा
इजरायली विदेश मंत्रालय ने मानचित्र वाले पोस्ट में लिखा, “क्या आप जानते हैं कि इजरायल का साम्राज्य 3000 साल पहले स्थापित हुआ था?” इसमें आगे लिखा था, “हालांकि, प्रवासी यहूदी लोग अपनी शक्तियों और क्षमताओं के पुनरुद्धार और अपने राज्य के पुनर्निर्माण की प्रतीक्षा कर रहे थे, जिसे 1948 में इज़रायल राज्य में मध्य पूर्व में एकमात्र लोकतंत्र घोषित किया गया था।”

इजरायल के नए मानचित्र पर मचा बवाल
इस पोस्ट ने फिलिस्तीनियों और अरब देशों में आक्रोश पैदा कर दिया, जिन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से इजरायल की विस्तारवादी महत्वाकांक्षाओं पर लगाम लगाने और उसे और अधिक फिलिस्तीनी और अरब क्षेत्र पर कब्जा करने के प्रयास से रोकने का आह्वान किया। जॉर्डन, संयुक्त अरब अमीरात और कतर ने इजरायल के नए नक्शे को विस्तारवाद के साथ जोड़ा और इसकी निंदा की। वहीं, फिलिस्तीनी प्रशासन और हमास ने भी इजरायल के नक्शे पर नाराजगी जताई।

जॉर्डन के विदेश मंत्रालय ने जताया विरोध
जॉर्डन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने इस पोस्ट की “कड़े शब्दों में” निंदा की और चित्रण को फ़िलिस्तीनी राज्य की स्थापना को रोकने के लिए इज़राइल के दक्षिणपंथी द्वारा प्रचारित “आरोप और भ्रम” बताया। प्रवक्ता ने कहा, मंत्रालय सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर आधिकारिक इजरायली खातों द्वारा प्रकाशित क्षेत्र के मानचित्रों की कड़े शब्दों में निंदा करता है, जिसमें दावा किया गया है कि वे इजरायल के लिए ऐतिहासिक हैं, जिसमें कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्रों, जॉर्डन, लेबनान और सीरिया के हाशमी साम्राज्य के कुछ हिस्से शामिल हैं।”

कतर ने नए मानचित्र की निंदा की
क़तर के विदेश मंत्रालय ने कहा कि “ऐतिहासिक इजरायल का प्रतिनिधित्व करने का दावा करने वाला” मानचित्र अंतर्राष्ट्रीय मानदंडों का “घोर उल्लंघन” है। उसने चेतावनी देते हुए कि इजरायल की स्पष्ट आकांक्षाएं क्षेत्र में शांति की संभावनाओं को और बाधित कर सकती हैं। कतर ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से “इजरायली कब्जे पर अंतर्राष्ट्रीय वैधता प्रस्तावों का अनुपालन करने और अरब भूमि में अपनी विस्तारवादी महत्वाकांक्षाओं का सामना करने के लिए दबाव डालकर अपनी कानूनी और नैतिक जिम्मेदारियों को पूरा करने” का आह्वान किया।

यूएई ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी
संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने इजरायल सरकार से संबद्ध आधिकारिक सोशल मीडिया अकाउंट पर कथित “ऐतिहासिक इजरायल” मानचित्र के प्रकाशन की कड़े शब्दों में निंदा की है, जिसमें कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्र, जॉर्डन, लेबनान और सीरिया के कुछ हिस्से शामिल हैं। यूएई ने इसे कब्जे का विस्तार करने का एक जानबूझकर किया गया प्रयास और अंतरराष्ट्रीय कानून का घोर उल्लंघन माना है। एक बयान में, विदेश मंत्रालय ने कहा कि संयुक्त अरब अमीरात कब्जे वाले फिलिस्तीनी क्षेत्र की कानूनी स्थिति को बदलने के उद्देश्य से सभी उत्तेजक प्रथाओं और अंतर्राष्ट्रीय वैधता पर प्रस्तावों के उल्लंघन में सभी उपायों को स्पष्ट रूप से अस्वीकार करता है, जो आगे बढ़ने और तनाव की धमकी देते हैं, और क्षेत्र में शांति और स्थिरता प्राप्त करने के प्रयासों को बाधित करते हैं।

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