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Thursday, October 30, 2025
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ये कैसा सिस्टम कंप्यूटर व स्मार्ट क्लास के दौर में गर्मी व उमस के बीच पढ़ने को मजबूर विद्यार्थी

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बड़वाह ब्लाक में 31 स्कूल ऐसे है जहां केवल चुनाव के समय बिजली आती है। मतदान के समय करीब एक सप्ताह तक यहां पंखे-लाइट चलते है। इसके बाद यहां गर्मी व उमस के बीच ही कक्षाएं संचालित होती है। कंप्यूटर शिक्षा व स्मार्ट क्लासेस के इस दौर में भी इन स्कूलों में रोशनी के प्रबंध नहीं हुए है। स्कूलों में बिजली का कनेक्शन नहीं होने से बच्चों को हवा करने के लिए अपने घर से पंखा लाना पड़ रहा है।

नगर के काटकूट फाटा स्थित आशा धाम के प्राथमिक विद्यालय में भी लाइट व पीने के पानी की व्यवस्था नहीं है। 53 बच्चे इस स्कूल में दर्ज है। गर्मी-उमस के चलते कई बार बच्चों की तबीयत खराब हो चुकी है। लेकिन अधिकारी अपनी जिम्मेदारी एक-दूसरे पर डाल देते है। इंजीनियर चंद्रपालसिंह मोरे ने बताया ब्लाक के 31 स्कूल में लाइट की व्यवस्था नहीं है। इसकी जानकारी विभागीय अधिकारियों को दी है।

यहां भी नहीं है बिजली कनेक्शन

बड़वाह ब्लाक की प्रावि जूना बलवाड़ा, प्रावि आक्या, प्रावि रावेर, ईजीएस मोरीपुरा, प्रावि बेलसर, ईजीएस दशहरा मैदान, मावि चित्रमोड़, ईजीएस भोई मोहल्ला जेठवाय, प्रावि दूधापुरा, ईजीएस ईजीएस मानकर मानकर मोहल्ला, प्रावि पडाली बुजुर्ग, प्रावि लाछोरा, प्रावि पिफ्लूद, सेटेलाइट केसरपाटी, मावि चैनपुरा, सेटेलाइट नीमखेड़ा, सेटेलाइट गणेश बैड़ी, ईजीएस पटेल फाल्या प्राविपि चंदपुरा, प्रावि बाल्यापुरा, बामन्या फाल्या, पुजारा फाल्या, पहले मेहगांव, सुंदर नगर बांगरदा, गुमठी, मावि भोगावा सिपानी, ईजीएस तेजाजी नगर आदि में भी बिजली कनेक्शन नहीं है।

वर्ष 1990 में आशा धाम क्षेत्र में यह स्कूल शुरू हुआ। यह टीन शेड में संचालित होता था। एक से पांच तक की कक्षा लगती थी। वर्ष 2006-07 में नवीन भवन का निर्माण हुआ। बिजली फिटिंग के साथ दोनों कक्षों में पंखे भी लगाए गए गए लेकिन लाइट नहीं होने से यह शो पीस बने हुए है। प्रधान पाठक फय्याज खान ने बताया गर्मी व उमस से कई बच्चों की तबीयत खराब हो चुकी है। शिक्षि है। शिक्षिका बबिता खत्रा ने बताया पीने के पानी कि व्यवस्था भी नहीं है।

बिजली कंपनी ने थमाया 36 हजार का स्टीमेट, स्कूल में फंड नहीं

प्रधान पाठक फय्याज खान ने बताया बिजली कनेक्शन के लिए कई बार अधिकारियों को पत्र लिखे। अब तक कोई सुनवाई नहीं हुई। तीन साल पहले बिजली विभाग ने पत्र जारी कर दो पोल लगाने के लिए 36 हजार रुपए का स्टीमेट दिया था। प्रावि में इतनी राशि खाते में नहीं रहती है। राशि जमा नहीं करने से पोल नहीं लगाए गए। बिना बिजली के शिक्षण कार्य प्रभावित होता है। गर्मी की वजह से बच्चे सही ढंग से बैठकर पढ़ नहीं पाते। शिक्षकों को भी परेशानी होती है।

यह भी पढ़िए: सतना में शिवराज सिंह चौहान का काफिला रोका, कांग्रेस नेताओं ने उठाई किसानों की समस्या

31 स्कूल भवन में बिजली की व्यवस्था को लेकर प्रस्ताव बनाकर भेजे है। वरिष्ठ अधिकारियों को दोबारा पत्र लिखकर राशि की मांग की जाएगी। – मेवाराम बर्मन, बीआरसी बड़‌वाह

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