मुंबई:
महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों में नतीजों के बाद एमवीए के नेता ईवीएम पर ठीकरा फोड़ रहे हैं। विधानसभा सत्र के पहले दिन एमवीए विधायकों ने इसी को मुद्दा बनाकर शपथ ग्रहण नहीं की थी। अब इस मुद्दे पर राज्य के उप मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने पलटवार किया है। शिंदे ने कहा कि जब विपक्ष को जीत मिलती है तब ईवीएम सही होती है। शिंदे ने सवाल दागा कि वायनाड से प्रियंका गांधी जीती हैं। झारखंड में इंडिया गठबंधन जीता है। शिंदे ने कहा लोकसभा चुनावों में महायुति को सिर्फ 17 सीटें मिली थीं तब ईवीएम खराब नहीं थी। शिंदे ने कहा उस वक्त हमने क्या ईवीएम को दोष दिया। शिंदे ने कहा विपक्ष को महाराष्ट्र की जनता का जनादेश स्वीकार करना चाहिए।
क्या घोटाला खत्म हो गया?
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि हमारी महायुति सरकार ने 2.5 साल में बहुत काम किया है, बहुत सारी योजनाएं लागू की हैं, जिसका नतीजा यह है। हाल ही में झारखंड में चुनाव हुए, और वायनाड में भी। जहां भी वे (विपक्ष) जीतते हैं, EVM अच्छी होती है। यह पिछले कई सालों से चल रहा है। लोकसभा में महायुति को 43.55% वोट मिले और महा विकास अघाड़ी को 43.71% वोट मिले। बस कुछ अंकों का अंतर है लेकिन हमें 17 सीटें मिलीं और उन्हें 31 सीटें मिलीं। फिर उन्होंने EVM घोटाले का मुद्दा नहीं उठाया? कल MVA विधायकों ने EVM घोटाले का हवाला देते हुए शपथ नहीं ली, लेकिन आज उन्होंने शपथ ले ली, तो क्या आज से EVM घोटाला खत्म हो गया?
महाराष्ट्र में गरमाया है मारकडवाड़ी का मुद्दा?
महाराष्ट्र में एमवीए ने ईवीएम हटाओ देश बचाओ नारे के बाद नया मोर्चा खोला है। रविवार को एनसीपी (एसपी) चीफ शरद पवार ने मारकडवाड़ी में ईवीएम के विरोध में एक सभा को भी संबोधित किया। शिंदे ने उसी परिपेक्ष्य में एमवीए को घेरा। इससे पहले एमवीए नेता पुणे में ईवीएम के खिलाफ और लोकतंत्र को बचाने की मांग को लेकर अनशन पर बैठ बाबा आढाव के उपवास को तुड़वाने के लिए भी पहुंचे थे।