Bihar Elections 2025: उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री और SBSP अध्यक्ष ओम प्रकाश राजभर ने सोमवार को बिहार विधानसभा चुनाव अकेले लड़ने का एलान किया. उन्होंने NDA के प्रति अपनी नाराज़गी व्यक्त की और राज्य में गठबंधन तोड़ने की घोषणा कर दी. बिहार में पहले चरण का मतदान 6 नवंबर और दूसरे चरण का मतदान 11 नवंबर को होना है.
गठबंधन धर्म नहीं निभाया: राजभर का आरोप
ओम प्रकाश राजभर ने NDA पर “गठबंधन धर्म” (Coalition Principles) का पालन नहीं करने का गंभीर आरोप लगाया. उन्होंने चेतावनी दी थी कि अगर NDA उनकी पार्टी को चार या पाँच सीटें नहीं देगी, तो SBSP सभी सीटों पर अकेले चुनाव लड़ेगी. राजभर ने कहा कि अब उनकी पार्टी अपना अलग मोर्चा बनाकर बिहार के चुनाव मैदान में उतरेगी.
4-5 सीटें नहीं मिलीं तो अकेले लड़ेंगे
राजभर ने स्पष्ट कहा कि उनकी पार्टी गठबंधन धर्म निभाने के लिए तैयार थी, लेकिन अब समय आ गया है कि यदि NDA उन्हें साथ रखना चाहता है, तो कम से कम चार या पाँच सीटें दे. बिहार में कुल 243 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव होने हैं, और राजभर की यह छोटी लेकिन महत्वपूर्ण मांग NDA की सीट शेयरिंग की जटिलता को बढ़ा रही है.
SBSP 153 सीटों पर लड़ने को तैयार
ओम प्रकाश राजभर ने साफ़ तौर पर कहा कि अगर NDA उनके प्रस्ताव पर सहमत नहीं होता है, तो वे अकेले ही चुनाव मैदान में उतरेंगे. उन्होंने यह भी बताया कि उनकी पार्टी ने पहले चरण की 52 सीटों के लिए उम्मीदवारों के नाम फाइनल कर लिए हैं और नामांकन प्रक्रिया भी शुरू कर दी है. SBSP कुल 153 सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए पूरी तरह से तैयार है.
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क्यों अहम हैं ओम प्रकाश राजभर?
ओम प्रकाश राजभर भले ही उत्तर प्रदेश के नेता हों, लेकिन बिहार में राजभर समुदाय के वोट बैंक पर उनका कुछ असर माना जाता है. उनका अकेले चुनाव लड़ना NDA के वोट बैंक में सेंध लगा सकता है, खासकर उन सीटों पर जहाँ जीत-हार का अंतर बहुत कम होता है. SBSP का यह फैसला बिहार चुनाव में जातीय समीकरणों को प्रभावित करने की क्षमता रखता है.