अमिताभ बच्चन बॉलीवुड के शहंशाह हैं. उन्होंने अपने करियर में तमाम ब्लॉकबस्टर फिल्में दी हैं और आज भी वे दर्शकों के दिलों पर राज करते हैं. बिग बी सोशल मीडिया पर भी काफी एक्टिव रहते हैं और एक्स पर लगातार पोस्ट करते रहते हैं. हालांकि पहलगाम आतंकी हमले और ऑपरेशन सिन्दूर पर पोस्ट ना करने पर बिग बी काफी ट्रोल हुए थे. वहीं ट्रोलिंग के बाद अब अमिताभ बच्चन ने भारत माता की जय के नारे लगाए हैं. दरअसल बिग बी नेएक्स पर की गई अपनी कई पोस्ट में भारत के दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने की तारीफ की है. बॉलीवुड के महानायक ने भारतीय सेना को ‘अग्निवीर’ कहकर श्रद्धांजलि भी दी है.
बिग बी ने भारत के चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने पर की तारीफ
एक्स पर अमिताभ बच्चन ने सोमवार की सुबह दो देशभक्ति भरी पोस्ट की. अपनी पहली पोस्ट में बिग बी ने अमेरिका, चीन और जर्मनी को दुनिया की टॉप तीन अर्थव्यवस्थाओं के रूप में मेंशन किया था जबकि भारत को चौथी सबसे बड़ी इकोनॉमी बताया. उन्होंने अपनी पहली पोस्ट में लिखा था, “टी 5390 (ii) -! भारत विश्व की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है.. संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन, जर्मनी, भारत.. और 2.5 – 3 साल में तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगी.. संयुक्त राज्य अमेरिका: 30.51 ट्रिलियन डॉलर के जीडीपी के साथ, चीन: 19.23 ट्रिलियन डॉलर की जीडीपी के साथ, जर्मनी: 4.74 ट्रिलियन डॉलर की जीडीपी के साथ. भारत: लगभग 4 ट्रिलियन डॉलर.”
भारतीय सेना को ‘अग्निवीर’ कहकर दी श्रद्धांजलि
अपनी अगली पोस्ट में अमिताभ बच्चन ने भारतीय सैनिकों की एक तस्वीर शेयर + की और हिंदी में लिखा, “टी 5390 (iii) अग्निवीर जिंदाबाद!! जय भारत माता की!! जय हिंद.”
पिता की कविता की पंक्तियां भी की शेयर
82 वर्षीय बच्चन ने अपने पिता और महान कवि, दिवंगत हरिवंश राय बच्चन के कलेक्शन से कुछ काव्य पंक्तियां भी शेयर की. बच्चन ने हिंदी में एक्स पर लिखा: “[T 5390 (i) – “किसको दोष दे, और किसको बताऊं अपना दुख, जब मिट्टी मिट्टी के साथ अन्याय करती है” ~ हरिवंशराय बच्चन.”
बता दें कि हाल ही में अमिताभ बच्चन ने पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादी ठिकानों के खिलाफ भारत के ऑपरेशन सिंदूर पर अपनी चुप्पी तोड़ी थी. अभिनेता ने पहले तो खोखली पोस्टें कीं और 11 मई को उन्होंने पहलगाम में हुए भयावह आतंकवादी हमले के बारे में डिटेल में लिखा, जिसमें 26 निर्दोष लोगों की जान चली गई, जिनमें से ज़्यादातर पर्यटक थे.