नई दिल्ली,
पाकिस्तान में एक तरफ जहां नए सेनाध्यक्ष की नियुक्ति को लेकर सियासत तेज हो गई है. वहीं, पाकिस्तान के मौजूदा सेनाध्यक्ष जनरल कमर जावेद बाजवा को लेकर एक चौंकाने वाली रिपोर्ट सामने आई है. इस महीने की 29 तारीख को रिटायर होने जा रहे बाजवा को लेकर पाकिस्तान की एक खोजी वेबसाइट ने दावा किया है कि छह साल के कार्यकाल के दौरान बाजवा का परिवार अरबपति बन गया. रिपोर्ट में उनके परिवार की कुल संपत्ति 12.7 अरब रुपये बताई गई है. इसके बाद सरकार ने बाजवा और उनके परिवार की टैक्स जानकारी लीक करने के मामले में जांच के आदेश दे दिए हैं.
पाकिस्तान की ‘द फैक्ट फोकस’ नाम की खोजी वेबसाइट ने अपनी रिपोर्ट में जनरल बाजवा और उनके परिवार के 2013 से लेकर 2021 तक के संपत्ति दस्तावेज (वेल्थ स्टेटमेंट) सार्वजनिक किए हैं. पाकिस्तान और विदेशों में बाजवा और उनके परिवार की कुल संपत्ति 12.7 अरब रुपये बताई गई है.
बाजवा की पत्नी की संपत्ति शून्य से बढ़कर 2.2 अरब रुपये हुई
यह रिपोर्ट ऐसे समय में सामने आई है, जब बाजवा की रिटायरमेंट में कुछ ही दिन बचे हैं. रिपोर्ट में दावा किया गया है कि बीते छह सालों में जनरल बाजवा की पत्नी आयशा अमजद की कुल संपत्ति शून्य से 2.2 अरब रुपये हो गई है. हालांकि, इस राशि में रिहायशी प्लॉट, कमर्शियल प्लॉट और सेना द्वारा उनके पति (बाजवा) को मुहैया कराए गए घरों की कीमत जोड़ी नहीं गई है.
जनरल बाजवा की बहू और उसकी बहन की संपत्ति भी बढ़ी
रिपोर्ट में कहा गया है कि जनरल बाजवा की बहू महनूर साबिर की संपत्ति अक्टूबर 2018 में शून्य थी. लेकिन दो नवंबर 2018 तक यह बढ़कर 127.1 करोड़ रुपये हो गई. महनूर की बहन हामना नसीर की संपत्ति भी अचानक बढ़ गई. 2016 में हामना की कुल संपत्ति शून्य थी. लेकिन अगले साल हामना अरबपति बन गईं.
जनरल बाजवा के दामाद भी अरबपति बने
वेबसाइट का दावा है कि जनरल कमर जावेद बाजवा के सेनाध्यक्ष बनने के बाद उनके दामाद साबिर हमीद की संपत्ति में बेतहाशा इजाफा देखने को मिला. 2013 में उनकी संपत्ति तुलनात्मक रूप से बहुत कम थी. लेकिन अगले कुछ सालों में वह भी आश्चर्यजनक तरीके से अरबपति बन गए.
चौबीस घंटे के भीतर रिपोर्ट सौंपने का हुक्म
बाजवा को लेकर इस रिपोर्ट के सामने आने के बाद सोमवार को वित्त मंत्री इशाक डार ने जांच के आदेश दे दिए हैं. डार ने बाजवा और उनके परिवार की टैक्स जानकारी गलत तरीके से लीक करने के मामले में संज्ञान लेते हुए जांच के आदेश दिए हैं.
डार के हवाले से बयान में कहा गया कि यह स्पष्ट रूप से टैक्स जानकारी की गोपनीयता का उल्लंघन है. डार ने राजस्व पर प्रधानमंत्री के विशेष सहायक (एसएपीएम) तारिक महमूद पाशा को निर्देश दिए हैं कि वह निजी तौर पर टैक्स कानून के उल्लंघन की तत्काल जांच की अगुवाई करें और 24 घंटे के भीतर रिपोर्ट पेश करें.