नई दिल्ली:
ऑपरेशन सिंदूर के बारे में दुनियाभर के देशों तक सही जानकारी पहुंचाने गया सांसदों का एक प्रतिनिधिमंडल कोलंबिया पहुंचा। इस दौरान कांग्रेस सांसद और डेलिगेशन के सदस्य शशि थरूर ने कोलंबिया की सरकार को खरी-खरी सुना दी। उन्होंने कोलंबिया की सरकार से कहा कि उन्हें पाकिस्तान में आतंकियों की मौत पर शोक नहीं जताना चाहिए था।
दरअसल, भारत के ऑपरेशन सिंदूर में मारे गए पाकिस्तानियों की मौत पर कोलंबिया ने शोक जताया था। कोलंबिया की इस पॉलिसी पर थरूर ने निराशा जताई। शशि थरूर ने कहा कि आतंकियों और अपने देश की रक्षा करने वालों के बीच कोई समानता नहीं हो सकती।इस दौरान शशि थरूर ने डोनाल्ड ट्रंप के उस दावे की भी हवा निकाल दी, जिसमें ट्रंप ने भारत-पाकिस्तान के बीच संघर्ष विराम कराने का दावा किया था। थरूर ने स्पष्ट किया कि भारत शांति चाहता है। किसी भी तीसरे पक्ष ने मध्यस्थता में भाग नहीं लिया है।
पीड़ितों के प्रति दिखानी थी सहानुभूति
यह बातें थरूर ने कोलंबिया की मीडिया से बात करते हुए कहीं। थरूर ने कहा कि कोलंबिया की सरकार को आतंकवादी घटना (पहलगाम हमला) के पीड़ितों के प्रति सहानुभूति दिखानी चाहिए थी। थरूर ने जोर देकर कहा कि आतंकियों और अपने देश को बचाने वालों के बीच कोई तुलना नहीं की जा सकती।
अगर कोई गलतफहमी है तो हम…
शशि थरूर ने कहा आगे कहा कि हमें कोलंबिया सरकार की प्रतिक्रिया से थोड़ी निराशा हुई। हम कोलंबिया में अपने दोस्तों से कहेंगे कि हम केवल आत्मरक्षा का प्रयोग कर रहे हैं। अगर इस बारे में कोई गलतफहमी है, तो हम उसे दूर करने के लिए यहां हैं। हम कोलंबिया से इस बारे में विस्तार से बात करने के लिए बहुत खुश हैं।
आतंकी हमले के बाद लिया एक्शन
कांग्रेस सांसद ने आगे बताया कि भारत ने अपनी कार्रवाई जम्मू और कश्मीर के पहलगाम में हुए एक आतंकी हमले के बाद की। इस हमले की जिम्मेदारी द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) नामक आतंकी संगठन ने ली थी। वह लश्कर-ए-तैयबा (LET) का एक सहयोगी संगठन है, जो पाकिस्तान में स्थित है।
स्थिति पूरी तरह से समझ में नहीं आई
थरूर ने कहा कि हमें ऐसा लगता है कि जब वह बयान (कोलंबिया द्वारा पाकिस्तान में मौतों पर संवेदना व्यक्त करना) दिया गया था, तब शायद स्थिति पूरी तरह से समझ में नहीं आई थी। समझना हमारे लिए बहुत जरूरी है। हम एक ऐसा देश हैं, जो वास्तव में दुनिया में रचनात्मक प्रगति के लिए एक ताकत रहा है।