नई दिल्ली
आम आदमी पार्टी (AAP) ने MCD की बागडोर बिना किसी मुकाबले के बीजेपी को सौंप दी। अब AAP ने निगम सदन में 12 खाली सीटों के लिए प्रभारियों की नियुक्ति कर दी है। इन सीटों पर जल्द ही उपचुनाव होंगे। बता दें कि फरवरी में हुए विधानसभा चुनावों में AAP को हार का सामना करना पड़ा था।
आम आदमी पार्टी को 2020 के चुनाव में 52 सीटें मिली थीं। इसके मुकाबले इस बार हुए चुनाव में ये सीटें घटकर 28 ही रह गईं हैं। इसके चलते राष्ट्रीय राजधानी में BJP की सरकार बनी। हाल ही में हुए मेयर चुनावों में AAP ने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया था और बीजेपी ने इस चुनाव में जीत हासिल की। बीजेपी दो साल के अंदर ही MCD की सत्ता में वापस आ गई है। AAP अब इन वार्ड उपचुनावों के माध्यम से खोई हुई जमीन को फिर से हासिल करने का लक्ष्य बना रही है। पार्टी कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ाना चाहती है। इसके लिए AAP ने कई पूर्व विधायकों को जिम्मेदारी सौंपी है।
एमसीडी में पार्षदों का दल बदल जारी
दिसंबर 2022 में हुए MCD चुनावों में AAP को 250 में से 134 सीटें मिली थीं। बीजेपी को इस चुनाव में 104 और कांग्रेस को 9 सीटें मिलीं। बाकी सीटें निर्दलीय उम्मीदवारों को मिलीं। लेकिन, MCD में दल-बदल कानून लागू नहीं होने के कारण पार्षदों का यहा से वहां जाना जारी है। अब AAP के पास 113 सीटें, BJP के पास 117 और कांग्रेस के पास 8 सीटें हैं।
पूर्व विधायकों को मिली अहम जिम्मेदारी
पार्टी ने खाली वार्डों के लिए प्रभारियों की नियुक्ति की है। कई पूर्व विधायकों को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है। द्वारका से पूर्व विधायक विनय मिश्रा को द्वारका B वार्ड का प्रभारी बनाया गया है। यह सीट कमलजीत सहरावत के पश्चिम दिल्ली से सांसद चुने जाने के बाद खाली हो गई थी।
किस नेता को सौंपी गई इलाकों की जिम्मेदारी?
पूर्व विकासपुरी विधायक महिंदर यादव नजफगढ़ में दिचाओं कलां का काम देखेंगे। पूर्व जंगपुरा विधायक प्रवीण कुमार को दक्षिणापुरी वार्ड का प्रभारी बनाया गया है। पूर्व कोंडली विधायक कुलदीप कुमार पटपड़गंज वार्ड का काम संभालेंगे। पूर्व किराड़ी विधायक ऋतुराज झा वजीरपुर वार्ड का प्रबंधन करेंगे। पूर्व मंत्री रघुविंदर शौकीन मुंडका वार्ड की देखरेख कर रहे हैं। पूर्व करोल बाग विधायक विशेष रवि को राजेंद्र नगर वार्ड सौंपा गया है। पूर्व MCD मेयर शैली ओबेरॉय चांदनी चौक वार्ड में प्रयासों का नेतृत्व करेंगी।
राजनीतिक गतिविधियां की जा रहीं संचालित
एक वरिष्ठ AAP नेता ने कहा कि प्रभारियों की नियुक्ति उनकी पहुंच, वरिष्ठता, क्षेत्र और उसके जनसांख्यिकी की समझ के साथ-साथ जाति और मतदाता प्रोफाइल के आधार पर की गई है। फिलहाल, उन्हें कार्यकर्ताओं को संगठित करने, विधानसभा-स्तरीय बैठकें आयोजित करने और राजनीतिक गतिविधियां संचालित करने का काम सौंपा गया है।
अपनी स्थिति मजबूत करना चाहती है AAP
AAP इन उपचुनावों को जीतकर MCD में अपनी स्थिति मजबूत करना चाहती है। पार्टी का मानना है कि इससे कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ेगा। साथ ही, लोगों में AAP के प्रति विश्वास फिर से जागेगा। AAP नेता इन उपचुनावों को गंभीरता से ले रहे हैं। वे हर संभव कोशिश कर रहे हैं ताकि पार्टी को जीत मिल सके।