इस्लामाबाद
पाकिस्तान की वायुसेना ने अपने JF-17 लड़ाकू विमान में PL-15 मिसाइल लगी तस्वीर जारी की है। इस तस्वीर को जारी करने के पीछे उसका मकसद भारत को डराना है। दावा किया गया है कि चीन ने अप्रैल महीने में भारत के साथ तनाव भड़कने के बीच इस मिसाइल को पाकिस्तान भेजा है। जिसके बाद ही पाकिस्तान वायु सेना ने पीएल-15 एडवांस मिसाइल से लैस एक जेएफ-17सी लड़ाकू विमान की तस्वीरें जारी की हैं। एक्सपर्ट्स का मानना है कि इस तस्वीर को जारी करने का मकसद भारत को यह संदेश देना है कि अगर युद्ध की नौबत आती है तो पाकिस्तान इसके लिए तैयार है। लेकिन तस्वीरों को लेकर जब एक्सपर्ट्स ने विश्लेषण किया तो पता चला कि ये मिसाइल सिर्फ एक जुमला भर है। इससे पाकिस्तान भारत को कुछ ज्यादा नुकसान नहीं पहुंचा सकता है।
कई एक्सपर्ट्स ने दावा किया है कि चीन ने PL-15 मिसाइल का एक्सपोर्ट वैरिएंट पाकिस्तान को बेचा है, जिसे असल में J-10CE लड़ाकू विमानों में लगाने के लिए डिजाइन किया गया है। लेकिन पाकिस्तान एयरफोर्स ने इसे JF-17 Block Ill फाइटर जेट में लगाया है, जिससे इस मिसाइल की मार करने की क्षमता सीमित हो जाती है। PL-15 एक बियॉन्ड विजुअल रेंज (BVR) एयर-टू-एयर मिसाइल है, जिसका डिजाइन किसी सैन्य ठिकाने को तबाह करने के लिए किया गया है, लेकिन विश्लेषण से पता चलता है कि भारत काफी आसानी से इस मिसाइल को हवा में मार सकता है।
PL-15 मिसाइल कितनी विनाशक क्षमता वाली?
हालांकि पाकिस्तानी सेना ने 26 अप्रैल को जिस तस्वीर को जारी किया है, उसमें JF-17Block IIl लड़ाकू विमान को PL-15 मिसाइल के साथ देखा गया है। इसके साथ ही इसमें पाकिस्तानी एयरफोर्स ने दावा किया है कि इस मिसाइल को अपग्रेड किया गया है और इसे लंबी दूरी पर लक्ष्यों को भेदने में सक्षम एक बियॉन्ड-विजुअल-रेंज (BVR) एयर-टू-एयर मिसाइल (AAM) के रूप में बताया गया है। इसके अलावा इस फाइटर जेट में हेलमेट-माउंटेड डिस्प्ले (HMD) होने का दावा किया गया है, जिसका मतलब है कि पायलट अपनी हेलमेट से ही मिसाइल को फायर कर सकता है।
हालांकि चीन के दावे को माने तो PL-15 एक बियॉन्ड विजुअल रेंज (BVR) मिसाइल है, जिसकी क्षमता 200 से 300 किलोमीटर तक मार करने की है। इसके अलावा यह AESA रडार गाइडेड मिसाइल है, यानी इस मिसाइल से एडवांस्ड टारगेटिंग हमला किया जा सकता है और चीनी एक्सपर्ट्स इसकी तुलना अमेरिका की AIM-120D और रूस की R-37M जैसी मिसाइलों से करते हैं। यानि पहली नजर में देखने पर यही लगता है कि पाकिस्तान, अब हवा में काफी लंबी दूरी से भी भारत के फाइटर जेट्स को निशाना बना सकता है। लेकिन हकीकत ये है कि इस मिसाइल का फाइटर जेट्स के साथ एकीकरण, इसका वैरिएंट और इसके ऑपरेशनल प्रभाव को लेकर कई सवाल हैं।
माना जा रहा है कि पाकिस्तानी एयरफोर्स की तस्वीर में जो मिसाइल है, वो PL-15E मिसाइल है, जो एक एक्सपोर्ट वैरिएंट है। जिसकी रेंज 150 किलोमीटर से कम है। पाकिस्तान ने इस वैरिएंट को चीन से अपने J-10CE लड़ाकू विमानों के लिए खरीदा था, जिसे पाकिस्तान ने अपनी वायुसेना में 2022 में शामिल किया गया था। इसके लिए चीन और पाकिस्तान के बीच 1.52 अरब डॉलर का समझौता हुआ था। इस समझौते के तहत पाकिस्तान ने 240 PL-15E मिसाइलों के लिए समझौता किया था। जबकि J-10CE, एक 4.5-पीढ़ी का मल्टीरोल फाइटर जेट है।
JF-17Block III के साथ मिसाइल की क्षमता कमजोर
एक्सपर्ट्स का कहना है कि जेएफ-17 ब्लॉक III के साथ PL-15E मिसाइलों को एकीकृत करने से मिसाइल की क्षमता और कमजोर हो जाती है। क्योंकि इस फाइटर जेट के साथ इस मिसाइल को कई टेक्नोलॉजिकल बाधाओं का सामना करना पड़ता है। जेएफ-17 ब्लॉक III के जिन विमानों को 2023 में पाकिस्तानी एयरफोर्स में शामिल किया गया था, सिर्फ उन्हीं विमानों में KLJ-7A AESA रडार है, जिसमें टारगेट्स को लॉक करने की क्षमता है। लेकिन पाकिस्तान के पास इन विमानों की संख्या सिर्फ 40 है। जबकि जेएफ-17 ब्लॉक III के पुराने वैरिएंट्स की संख्या पाकिस्तानी एयरफोर्स में 100 से ज्यादा है, जिनमें टारगेट को स्कैन करने, लॉक करने की क्षमता कमजोर है। लिहाजा पाकिस्तान को अपने 100 से ज्यादा विमानों को AESA क्षमता से अपग्रेड करना होगा, जिसके लिए भारी भरकम खर्च करना