इस्लामाबाद
भारत-पाकिस्तान सीमा पर घुसपैठ को बढ़ाने के लिए पाकिस्तानी सेना अक्सर सीजफायर का उल्लंघन करती रहती है। अब खबर आ रही है कि पाकिस्तान ने अपने सभी टेरर कैंप और लॉन्च पैड को लाइन ऑफ कंट्रोल (LoC) के पास शिफ्ट कर दिया है। इनकी लोकेशन इस हिसाब से तय की गई है कि हर लॉन्च पैड और टेरर कैंप बॉर्डर से सिर्फ कुछ किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। एक रिपोर्ट में खुफिया सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि पाकिस्तान ने घुसपैठ को बढ़ाने के लिए ऐसा किया है। नापाक मंसूबों के साथ भारतीय सीमा में घुसने वाले ज्यादातर पाकिस्तानी आतंकवादी भारत के जवानों की बंदूकों का निशाना बनते हैं।
सीएनएन-न्यूज18 की रिपोर्ट में इसकी जानकारी दी गई है। एलओसी के पास शिफ्ट किए गए टेरर कैंप लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और हिजबुल मुजाहिदीन जैसे आतंकवादी संगठनों से जुड़े हुए हैं। सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया, ‘नक्शा देखने पर हमें पता चलता है कि उनके पास कई एंट्री रूट हैं। ये रास्ते किसी तरह की गोलीबारी से बचने और भारतीय सुरक्षा बलों को व्यस्त रखने के लिए हैं।’
भारत में पाकिस्तान ने गिराए हथियार
रिपोर्ट के मुताबिक, मौजूदा समय में सभी लॉन्च पैड पर ट्रेनिंग प्राप्त आतंकवादी मौजूद हैं जिन्हें सीधे पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई से निर्देश मिल रहे हैं। इन आतंकवादियों की घुसपैठ आईएसआई के लिए ‘बोनस’ होगी क्योंकि पाकिस्तान ड्रोन के जरिए लगभग 300 छोटे हथियार सीधे भारत में गिरा चुका है। सूत्रों का कहना है कि ये 300 हथियार ‘हाईब्रिड किलिंग’ के लिए श्रीनगर और उसके आसपास मौजूद हैं।
मौके के इंतजार में आतंकवादी
एक अनुमान के मुताबिक लश्कर-ए-तैयबा और जैश के करीब 50 विदेशी आतंकवादी पहले से श्रीनगर में मौजूद हैं। सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया कि सभी आतंकी खुफिया तरीके से रह रहे हैं और जब भी उन्हें मौका मिलेगा, वे कार्रवाई करेंगे। दूसरी ओर गुरुवार को रावलपिंडी में पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल कमर जावेद बाजवा ने अपने शीर्ष कमांडरों को आतंकवाद के खतरे से निपटने के अभियान के लिए तैयार रहने और प्रयास जारी रखने का आदेश दिया।