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कौन हैं BJP सांसद रामचंद्र जांगड़ा, पहलगाम अटैक में अपने सिंदूर खोने वाली महिलाओं पर विवादित बयान जिस पर मचा है तूफान?

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चंडीगढ़:

हरियाणा के बीजेपी राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा अपने एक बयान के कारण विवादों में हैं। उन्होंने पहलगाम टेरर अटैक पर टिप्पणी करते हुए कहा कि महिलाओं को आतंकियों का मुकाबला करना चाहिए था। उनके इस बयान से सियासी हलचल मच गई है। जांगड़ा ने महिलाओं से अहिल्याबाई होल्कर और झांसी की रानी जैसी वीरता दिखाने की बात कही। उनके इस बयान की वजह से वे चर्चा में आ गए हैं। इसके साथ ही उनके राजनीतिक जीवन और बीजेपी में उनकी भूमिका पर भी बातें हो रही हैं। ऐसे में आइए जानते हैं कि रामचंद्र जांगड़ा का पूरा बयान क्या है? और उनका अब तक का राजनीतिक करियर कैसा रहा है?

रामचंद्र का वो विवादित बयान, जिस पर मचा तूफान
रामचंद्र जांगड़ा ने पहलगाम हमले पर सवाल पूछे जाने पर जवाब दिया। उनसे पूछा गया था कि क्या महिलाओं को आतंकियों से लड़ना चाहिए था? इसके जवाब में उन्होंने कहा कि महिलाओं को जरूर लड़ना चाहिए था। उनके अनुसार, अगर महिलाएं हाथ जोड़ने की बजाय आतंकियों से भिड़ जातीं, तो आतंकी भी मारे जाते और पर्यटकों की जान बच जाती। उन्होंने यह भी कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी ने इसी सोच के साथ अग्निवीर योजना शुरू की है। अगर वहां मौजूद हर पर्यटक अग्निवीर होता, तो वे आतंकियों को घेर लेते और कोई भी आतंकी बचकर नहीं जा पाता। जांगड़ा ने यह भी कहा कि सेना ने पहलगाम हमले के आरोपियों के ठिकानों को नष्ट कर दिया है। उन्होंने कहा कि सेना ने आतंकियों के आकाओं को भी खत्म कर दिया है।

कौन हैं रामचंद्र जांगड़ा?
हरियाणा में बीजेपी के सांसद रामचंद्र जांगड़ा मूल रूप से रोहतक के रहने वाले हैं। बीजेपी ने उन्हें राज्यसभा सदस्य बनाकर जातीय समीकरणों को साधने की कोशिश की थी। ऐसा करके बीजेपी ने पिछड़े और अनुसूचित जाति के वोट बैंक को अपनी ओर खींचने का प्रयास किया थी। जांगड़ा के चेहरे से जाटलैंड में भी बीजेपी को फायदा हुआ है। वे पहले हरियाणा पिछड़ा वर्ग और आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग कल्याण बोर्ड के चेयरमैन भी रह चुके हैं।

जांगड़ा को क्यों भेजा राज्यसभा?
बीजेपी ने जांगड़ा को राज्यसभा इसलिए भेजा ताकि उन्हें प्रदेश में पिछड़ी जाति के एक बड़े नेता के रूप में पेश किया जा सके। ऐसा करके बीजेपी ने प्रदेश में पिछड़े वर्ग के साथ संतुलन बनाने की कोशिश की। जांगड़ा को भले ही चुनावी मैदान में बड़ी सफलता नहीं मिली हो, लेकिन वे बीजेपी के अनुभवी और सुलझे हुए नेताओं में गिने जाते हैं।

रामचंद्र जांगड़ा का राजनीतिक सफर
रामचंद्र जांगड़ा का राजनीतिक सफर लोकदल (बहुगुणा) के साथ शुरू हुआ था। 1987 में वे सफीदों से उम्मीदवार बनाए गए थे, लेकिन हार गए। 1991 में वे हरियाणा विकास पार्टी के टिकट पर महम और 2004 में करनाल से विधानसभा चुनाव में उतरे। इसके बाद वे बीजेपी में शामिल हो गए।। 2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने जांगड़ा को सोनीपत जिले की गोहाना सीट से उम्मीदवार बनाया था। बीजेपी में उन्हें तीन बार प्रदेश उपाध्यक्ष और दो बार ओबीसी मोर्चे का उपाध्यक्ष बनाया गया। वे पिछड़ा वर्ग मोर्चा के अध्यक्ष भी रहे।

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